जेल में बंद पूर्व पार्षद ताहिर हुसैन ने जेल से ही आगामी दिल्ली विधानसभा चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया है। पोस्टर लगा कर ताहिर हुसैन ने उत्तर पूर्वी दिल्ली मुस्तफाबाद की जनता से एक भावुक अपील करते हुए कहा है कि ज़रूरत आपके वोट और सपोर्ट की है। मैं आप सभी को यकीन दिलाता हूँ कि मैं कभी भी तुम्हारा साथ नहीं छोडूंगा। आप सभी आत्मसम्मान और इंसाफ़ की इस लड़ाई में मेरा और मेरे बच्चों का साथ ज़रूर दीजिए।हालांकि, हुसैन को सलाखों के पीछे ही रहना होगा क्योंकि वह अन्य दंगों के मामलों में आरोपी है, जिसमें सांप्रदायिक दंगे के पीछे कथित बड़ी साजिश और इसे वित्तपोषित करने से संबंधित धन शोधन का मामला शामिल है।2020 के दिल्ली दंगों के एक मामले में आप के पूर्व पार्षद ताहिर हुसैन को जमानत देते हुए कहा कि इसमें उनकी भूमिका दूरस्थ प्रकृति की थी और वह पहले ही तीन साल से अधिक समय हिरासत में बिता चुके हैं।अग्रिम जमानत के लिए भी अर्जी दाखिल की थी, जिसे कोर्ट ने खारिज कर दिया। ताहिर के खिलाफ आईबी के हेड कॉन्स्टेबल अंकित शर्मा के परिवार ने 28 फरवरी को हत्या का केस दर्ज करवाया था। शर्मा का शव ताहिर के घर के नजदीक एक नाले से मिला था। दिल्ली हिंसा में नाम सामने आने के बाद आम आदमी पार्टी ने ताहिर को पार्टी से निलंबित कर दिया था। उधर, हाईकोर्ट ने पुलिस को दिल्ली हिंसा के बाद गुमशुदा हुए लोगों की तलाश के लिए हर मुमकिन कोशिश करने के निर्देश दिए हैं। गुरुवार को अदालत ने उत्तर पूर्व दिल्ली की हिंसा के बाद मॉर्चुरी में रखी गईं सभी लावारिस लाशों का ब्योरा प्रकाशित करने का आदेश भी दिया। हिंसा में मरने वालों की संख्या 53 हो गई थी। जीटीबी अस्पताल में 44, आरएमएल अस्पताल में 5, एलएनजेपी अस्पताल में 3 और जग प्रवेश चंद्र अस्पताल में 1 व्यक्ति की मौत हुई थी। दिल्ली पुलिस ने कहा- अब तक 654 मामले दर्ज किए गए । इनमें से 47 मामले आर्म्स एक्ट के हैं। हिरासत में लिए गए या गिरफ्तार किए गए लोगों की कुल संख्या 1820 हो गई थी।